किसानों की income दोगुनी करने 5 बिन्दुओं पर कार्य जारी : CM शिवराज

गेहूँ उपार्जन में पंजाब को पीछे छोड़ा…

किसानों की आय दोगुनी करने के लिए पाँच बिन्दुओं पर कार्य जारी : CM

मुरैना। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के कृषि की आय को दोगुना करने के संकल्प को पूर्ण करने के लिए राज्य सरकार पाँच बिन्दु पर कार्य कर रही है। कृषि का उत्पादन बढ़ाना, उत्पादन की लागत कम करना, किसानों को उत्पादन का सही मूल्य दिलाना, नुकसान की भरपाई करने और किसानों को कृषि के विविधीकरण के लिए प्रेरित करने की दिशा में सघन प्रयास जारी हैं। सिंचाई, उत्पादन बढ़ाने का मूल आधार है। हमारा प्रयास है कि प्रदेश की संपूर्ण कृषि योग्य भूमि सिंचित हो। इन प्रयासों के परिणामस्वरूप ही प्रदेश की सिंचाई क्षमता बढ़कर 42 लाख हेक्टेयर हो गई है। किसानों को खाद और बीज समय पर मिले, जरूरत पड़ने पर ब्याज जीरो प्रतिशत पर उपलब्ध हो। राज्य सरकार इस प्रकार के सभी कार्यों के प्रति विशेष संवदेनशील और सक्रिय है। पीएम किसान सम्मान निधि, पीएम किसान मानधन, पीएम फसल बीमा और समर्थन मूल्य में वृद्धि जैसे फैसलों से किसान आर्थिक रूप से सशक्त हो रहे हैं। मुख्यमंत्री और केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने जन-कल्याण और सुराज के 20 वर्ष पूर्ण होने पर किसान-कल्याण तथा कृषि विकास विभाग के कार्यक्रम में 50 बीज ग्रामों का शुभारंभ किया। 

हाल ही में आयोजित मिंटो हॉल में केन्द्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर के साथ प्रदेश के किसान-कल्याण तथा कृषि विकास मंत्री कमल पटेल भी उपस्थित थे। हितग्राहियों को नि:शुल्क बीज मिनीकिट वितरित किये गए। कृषक उत्पादक संगठनों का गठन और कृषि अधोसंरचना निधि के अंतर्गत हितग्राहियों को हितलाभ वितरण भी किया गया। कार्यक्रम की शुरूआत कन्या-पूजन और मध्यप्रदेश गान से हुई। मुख्यमंत्री ने केन्द्रीय मंत्री तोमर और प्रदेश के कृषि मंत्री कमल पटेल के साथ मिंटो हाल परिसर में लगी कृषि के उन्नत यंत्रों, जैविक उत्पादों और एक जिला एक उत्पाद पर केंद्रित प्रदर्शनियों का अवलोकन भी किया। राज्य स्तरीय कार्यक्रम में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से जिला, विकासखंड, ग्राम पंचायत, कृषि विस्तार एवं प्रशिक्षण केंद्र, कृषि विज्ञान केंद्र, कृषि उपज मंडियाँ, एपीओ मुख्यालय तथा प्रदेश के सभी कृषि विश्वविद्यालय जुड़े। मुख्यमंत्री ने कहा कि किसान के उत्पादन की लागत को नियंत्रित रखने के लिए ही अंतर्राष्ट्रीय बाजार में कीमत बढ़ने के बावजूद प्रधानमंत्री मोदी ने देश में डीएपी की कीमत नहीं बढ़ने दी। प्रदेश में नर्मदा का जल क्षिप्रा नदी में लाने के संकल्प को पूर्ण करना, विकास और जन-भावनाओं के प्रति हमारी प्रतिबद्धता को दर्शाता है। किसानों के हित के संरक्षण के लिए राज्य सरकार कृत संकल्पित है। 

इसी के परिणामस्वरूप कोरोना के कठिन काल में भी हमने 01 करोड़ 29 लाख मीट्रिक टन गेहूँ उपार्जन कर पंजाब को भी पीछे छोड़ दिया। किसानों की चिंता करते हुए हमारी सरकार ने पुराने वर्षों का बकाया 2200 करोड़ रू. की बीमा प्रीमियम राशि का भुगतान किया। परिणामस्वरूप किसानों को 3200 करोड़ रू. की दावा राशि का भुगतान संभव हुआ। मुख्यमंत्री चौहान ने कहा कि जिन किसानों के पास खेती योग्य भूमि कम है, उनकी चिंता करते हुए प्रधानमंत्री मोदी द्वारा प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना लागू की गई है। इसी प्रकार मुख्यमंत्री किसान-कल्याण योजना चलाई जा रही है। इन योजनाओं से किसानों को 10 हजार रूपए प्रति वर्ष मिल रहा है। यह सहयोग किसानों के सशक्तिकरण के लिए किया जा रहा है। मुख्यमंत्री ने कहा कि भूमि के स्वास्थ्य को बेहतर करने के लिए कृषि का विविधीकरण आवश्यक है। लगातार एक फसल लेने से भूमि की उत्पादकता घटती है। फसलों को बदल-बदल कर लेते हुए व्यवस्थित फसल चक्र अपनाकर उत्पादकता बढ़ाई जा सकती है। राज्य शासन द्वारा कोरोना को नियंत्रित करने के बाद कृषि महोत्सव का आयोजन किया जाएगा। महोत्सव में वैज्ञानिक गाँव-गाँव जाकर कृषकों को कृषि के विविधीकरण और फसल चक्र के बारे में उनके क्षेत्र और परिस्थितियों के अनुसार मार्गदर्शन देंगे।

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