MPCCI ने की केमटेक को ग्वालियर में यथावत्‌ बनाए रखने की माँग

NAOIR बड़ौदरा के प्रशासनिक अधिकार क्षेत्र में किया जाए स्थानान्तरित…

MPCCI ने की केमटेक को ग्वालियर में यथावत्बनाए रखने की माँग

 

ग्वालियर। राष्ट्रीय महत्व के संस्थान केमटेक को ग्वालियर में बंद करते हुए, इसे नेशनल अकेडमी ऑफ इंडियन रेलवे, बड़ौदरा के प्रशासनिक अधिकार क्षेत्र में स्थानान्तरित किए जाने की माँग करते हुए, एमपीसीसीआई द्वारा केन्द्रीय नागर विमानन मंत्री, भारत सरकार ज्योतिरादित्य सिंधिया, केन्द्रीय मंत्री-माननीय नरेन्द्र सिंह तोमर सहित सांसद विवेक नारायण शेजवलकर को पत्र लिखकर, उपरोक्त संस्थान को ग्वालियर में यथावत्बनाए रखने हेतु आवश्यक कार्यवाही किए जाने की माँग की गई है। MPCCI, अध्यक्ष-विजय गोयल, संयुक्त अध्यक्ष-प्रशांत गंगवाल, उपाध्यक्ष-पारस जैन, मानसेवी सचिव-डॉ. प्रवीण अग्रवाल, मानसेवी संयुक्त सचिव-ब्रजेश गोयल एवं कोषाध्यक्ष-वसंत अग्रवाल ने प्रेस को जारी विज्ञप्ति में अवगत कराया है कि कैलाशवासी माधवराव सिंधिया के अथक प्रयासों के फलस्वरूप ग्वालियर में अपनी तरह का एक मात्र रेल संस्थान (CAMTECH) की स्थापना दि. 01 नवम्बर,1987 कोमहाराजपुरामें तत्कालीन महामहिम राष्ट्रपति शंकर दयाल शर्मा एवं कैलाशवासी माधवराव सिंधिया के करकमलों द्वारा हुई थी

इस संस्थान को आज समस्त भारतीय रेल में उच्च अनुरक्षण प्रौद्योगिकी केन्द्र (CAMTECH) ग्वालियर के नाम से जाना जाता है। पदाधिकारियों ने अवगत कराया है कि यह संस्थान अपने तरीके का एकमात्र संस्थान है, जो कि एक केंद्रीय कृत प्रशिक्षण केन्द्र के रूप में रेल उपकरणों के रखरखाव, उनकी कार्य क्षमता को बढ़ाने तथा उस हेतु कर्मचारियों के प्रशिक्षण पर सतत्कार्य कर रहा है। संस्थान का वार्षिक बजट मात्र 02 करोड़ का है। संस्थान गत्वर्षों में करीब-करीब 24000 से अधिक रेल कर्मचारियों तथा अधिकारियों को प्रशिक्षण दे चुका है। रेल उपकरण एवं प्रणाली के सही संचालन एवं रखरखाव हेतु कैमटेक द्वारा गत्वर्षों में 650 से अधिक मैन्यूअल जारी किए गए हैं, जो कि पूरे रेल नेटवर्क के कर्मचारियों हेतु उपयोगी साबित हो रही है। भारतीय रेल मेंबायो टॉयलेट प्रणालीका इस्तेमाल किया जा रहा है। इस प्रणाली के लिए CAMTECH ही एकमात्र संस्थान है, जो कि उसके रखरखाव, इस्तेमाल तथा परीक्षण का कार्य कर रही है।

इसे बढ़ावा देने हेतु हाल ही में CAMTECH में भारतीय रेलवे की प्रथम बायो टॉयलेट लैब की स्थापना की गई, जो कि पूरे भारतीय रेलवे के अधिकारी एवं कर्मचारियों को प्रशिक्षण देने हेतु एकमात्र संस्थान है। हाल ही में भारतीय मानक ब्यूरो के द्वारा भारतीय रेलवे की एक मात्र संस्था कैमटेक को विद्युत सुरक्षा की कमेटी में शामिल किया गया है, जिसके तहत विद्युत सुरक्षा हेतु रेलवे कर्मचारियों और अधिकारियों का प्रशिक्षण जारी है। पदाधिकारियों ने कहा है कि CAMTECH ग्वालियर प्रारम्भ से ही एक स्वतंत्र संस्थान के रूप में कार्य कर रहा था, उसे सिर्फ प्रशासनिक सहायता हेतु आरडीएसओ, लखनऊ के अधीन रखा गया। अभी यह विदित हुआ है कि वर्तमान में आरडीएसओ, लखनऊ को रिफॉर्म करने के प्रयास में इस संस्थान के स्वतंत्र अस्तित्व को नजरअंदाज करते हुए इस संस्थान को बंद किया जा रहा है। इसलिए ग्वालियर में स्थापित देश में अपने तरीके के उक्त संस्थान का समापन होने जा रहा है, जो कि ग्वालियर के लिए एक अति गंभीर क्षति है।

एमपीसीसीआई द्वारा आज प्रेषित किए गए पत्रों में सुझाव दिया गया है कि पूर्व केन्द्रीय मंत्री, कैलाशवाही माधवराव सिंधिया द्वारा स्थापित यह संस्थान यदि बंद किया जाता है, तब ग्वालियर में स्थापित एकमात्र देश का यह संस्थान विलोपित हो जाएगा। अतएव प्रमुख आर्थिक सलाहकार, भारत सरकार की रिपोर्ट के आधार पर रेलवे में एक नेशनल रेल तथा ट्रांसपोर्टेशन विश्वविद्यालय की स्थापना की जानी है, जो कि नेशनल अकादेमी ऑफ इंडियन रेलवे, बड़ौदरा में होना सुनिश्चित हुई है। इसके अधीन भारतीय रेल के समस्त केंद्रीकृत प्रशिक्षण संस्थानों का विलय किया जाना है। ये सभी केंद्रीयकृत प्रशिक्षण संस्थान भविष्य में नेशनल रेल ट्रांसपोर्टेशन इंस्टीट्यूट बनकर अपना कार्य करेंगे। कैमटेक, ग्वालियर वर्तमान में एक सेंट्रलाइज्ड ट्रेनिंग इंस्टिट्यूट के रूप में कार्य कर रहा है, यदि इसे बंद कर दिया जाता है, तो ग्वालियर को मिलने वाली नेशनल लेवल ट्रांसपोर्टेशन इंस्टीट्यूट की संभावनाएँ एवं भविष्य में मिलने वाले रोजगार के अवसर और ग्वालियर के क्षेत्रीय विकास के अवसर प्रभावित होंगे।

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