अधिकारी अधीनस्थों पर कार्रवाही करने में न करें संकोच : श्री वर्मा

मरीज को तत्परता से अटेंड न करने पर कलेक्टर ने भेजा नोटिस…

अधिकारी अधीनस्थों पर कार्रवाही करने में न करें संकोच : श्री वर्मा

मुरैना। समीक्षा बैठक के दौरान स्वास्थ्य विभाग में प्रोग्रेस अच्छी नहीं निकल रही है। इसका मुख्य उद्देश्य है कि स्वास्थ्य विभाग में अधिकारी अधीनस्थों के खिलाफ कोई कार्रवाही नहीं कर रहे है। इसलिये लगातार प्रोगे्रस अच्छी नहीं दिख रही है। स्वास्थ्य अधिकारी अधीनस्थों पर कार्रवाही करने में संकोच क्यों करते है, इस प्रकार की पूअर प्रोग्रेस अगली बैठक में मिली तो विभागीय अधिकारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाही होगी। इससे बचने के लिये स्वास्थ्य अधिकारी अधीनस्थों पर कार्रवाही करें। जिसमें कार्रवाही नोटिस तक सीमित न रहे, कार्रवाही निलंबित या सेवा समाप्ति तक जैसी नहीं चाहिये। यह निर्देश कलेक्टर अनुराग वर्मा ने बुधवार को नवीन कलेक्ट्रेट सभागार में जिला स्वास्थ्य समिति की बैठक में अधिकारियों को दिये। इस अवसर पर मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी आरसी बांदिल, सिविल सर्जन डाॅ. एके गुप्ता, शिक्षा, डीपीसी, बीएमओ, सीडीपीओ सहित ब्लाॅक स्तर के स्वास्थ्य कर्मी भी उपस्थित थे। 

कलेक्टर अनुराग वर्मा ने कहा कि पोरसा से 17 मई 2020 को 108 एम्बूलेन्स वाहन से रेनू कुशवाह को रैफर किया गया था। जिसमें महिला की चार एएनसी हुईं थी, मगर एएनसी कोई डाॅक्टरों द्वारा नहीं की गई थी। महिला का प्रसव पीड़ा होने पर सुबह 7 बजे पोरसा लाया गया। भर्ती केे समय महिला का बीपी 120-70, पल्स 82, तापमान 98.6 डिग्री, एचबी 10.3 ग्राम था। सुबह 9.25 बजे महिला के प्रसव के दौरान किसी भी प्रकार की जटिलता नहीं होना दर्शाया गया। सुबह 10.30 बजे महिला को घबराहट हुई एवं महिला का जिला चिकित्सालय मुरैना के 12.30 बजे रैफर कर दिया गया। रैफरल सिल्प को भी नहीं बनाया। तथा पर्चे पर ही रैफर डीएच मुरैना लिखकर भेजा गया। इन दो घंटों में महिला को क्या उपचार दिया गया। कोई भी रिकाॅर्ड उपलब्ध नहीं है। रैफर के समय कोई बाइटल रिकाॅर्ड उपलब्ध नहीं है। 

महिला दोपहर 2 बजे जिला चिकित्सालय पहुंची। वहां पर महिला को डाॅक्टरों ने मृतक घोषित कर दिया। इसमें सबसे लापरवाही डाॅ. पोरसा की प्रदर्शित होती है। इस प्रकार की लापरवाही स्वास्थ्य के प्रति डाॅक्टरों को नहीं करनी चाहिये। जबकि मरीज को तत्परता से हेंडल करना चाहिये था। इनके आरोप में पोरसा के एमओ डाॅ. पुष्पेन्द्र डण्डोतिया को तत्काल कारण बताओ नोटिस जारी करने के निर्देश दिये है। इसी प्रकार की घटना सबलगढ़ की सरिता जाटव की सामने आई है। जिसमें भी डाॅक्टरों द्वारा लापरवाही बरती है। इस प्रकार की लापरवाही आगे मुझे मिली तो ऐसी कार्रवाही की जायेगी, जिसका उस डाॅक्टर ने सोचा भी नहीं होगा। स्वास्थ्य अधिकारी स्वास्थ्य के प्रति सजग रहकर पद के दायित्वों का निर्वहन करें। अगली बैठक में स्वास्थ्य प्रति किसी प्रसव या स्वास्थ्य संबंधी योजनाओं में लापरवाही मिली तो सख्त कार्रवाही होगी। कलेक्टर श्री वर्मा ने कहा कि समीक्षा बैठक में विभागीय योजनाओं में स्थिति अच्छी नहीं है। इस पर भी अधिकारी ध्यान दें। 

विशेषकर जिले में प्रायवेट हाॅस्पीटलों में जन्म के बाद कम वजन या पर्याप्त संसाधन नहीं है। किन्तु प्रसव के लिये लोंगो के प्रेरित करते है। ऐसे चिकित्सालयों को सीएमएचओ नोटिस जारी करें। बैठक में पोषण पुनर्वास केन्द्र के बारे में भी जिले के सीडीपीओ को निर्देश दिये कि जिले की सभी एनआरसी की बैड संख्या फुल रहे। इस ओर विशेष ध्यान देने की जरूरत है। उन्होेंने शिशु मृत्य के संबंध में भी जानकारी प्राप्त की। कलेक्टर ने परिवार नियोजन के तहत लक्ष्य को पूर्ण करने के निर्देश स्वास्थ्य अधिकारियों को दिये। उन्होंने कहा कि महिलाओं के साथ पुरूष नसबंदी को भी बढ़ावा दिया जाये। कलेक्टर ने टीकाकरण के संबंध में भी विस्तार से निर्देश दिये। उन्होंने मलेरिया की स्लाइड बनाने एवं पुनरीक्षित क्षय नियंत्रित कार्यक्रम के संबंध में भी अधिकारियों को निर्देश दिये। कलेक्टर ने समस्त बीएमओ को निर्देश दिये कि मैदानी स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं की बैठक लें। बैठक में क्या निर्देश दिये गये है, किसकी कितनी प्रोग्रेस आई है, उन सभी की प्रोसेडिंग हर मीटिंग की मुझे उपलब्ध कराना सुनिश्चित करें।

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