G News 24 :लोगों के पास समय कम व डिजिटल कार्ड ज्यादा हैं, इसलिए पिछड़ रहा है कपड़ा व्यवसाय :MPCCI

 चेम्बर भवन में समूहवार “चेम्बर संवाद” के तहत बैठक...

लोगों के पास समय कम व डिजिटल कार्ड ज्यादा हैं, इसलिए पिछड़ रहा है कपड़ा व्यवसाय :MPCCI

ग्वालियर l मध्यप्रदेश चेम्बर ऑफ कॉमर्स एण्ड इण्डस्ट्री (MPCCI) की नवीन टीम द्बारा व्यापार जगत की समस्याओं का संकलन करने के उद्देश्‍य से समूहवार बैठकों का आयोजन “चेम्बर संवाद” के रूप में प्रारंभ किया जा रहा है। आज समूह क्रमांक-2 थोक वस्त्र व्यवसाय एवं समूह क्रमांक-4 खेरीज एवं कटपीस वस्त्र व्यवसाय की बैठक ‘चेम्बर भवन` में सायं 4 बजे से आयोजित की गई। बैठक में अध्यक्ष-डॉ. प्रवीण अग्रवाल, उपाध्यक्ष-डॉ. राकेश अग्रवाल, मानसेवी सचिव-दीपक अग्रवाल, कोषाध्यक्ष-संदीप नारायण अग्रवाल सहित पूर्व मानसेवी संयुक्त सचिव-नरेश सिंघल, कार्यकारिणी समिति सदस्य-रोशन गाबरा, धर्मेश गुप्ता, मोहन माहेश्वरी, घनश्यामदास नागवानी एवं सदस्य-प्रदीप भवानी, नरेन्द्र कुमार जैन, महेश खटोड़, अभिनंदन जैन, जगदीश अग्रवाल, चैतन्य गुप्ता, राजकुमारजी, श्‍याम गोयल, गोविंद अग्रवाल, श्यामलाल जेठवानी, सुरेश अरोरा,  मनीष मित्तल, अभिषेक जाजू, योगेश गुप्ता, भारत गुप्ता, मोतीलाल जेठवानी, अशोक मतानी, अमित बत्रा, मधुर मित्तल, जगदीश सरावगी, कुंजम बत्रा, नितिन गोयल, सुदीप कुमार जैन, अनिल गुप्ता, प्रकाशचंद मांडिल, जयदेव कंजानी, अंकित जैन, गोपाल अग्रवाल आदि उपस्थित रहे। 

बैठक की अध्यक्षता कर रहे डॉ. प्रवीण अग्रवाल द्बारा अपने उद्बोधन में सभी सदस्यों का स्वागत करते हुए कहा कि व्यापार व उद्योग की समस्याओं का संकलन नवीन टीम द्बारा किया जा रहा है। इस दिशा में चेम्बर द्बारा औद्योगिक क्षेत्रों में प्रत्येक माह के प्रथम व द्बितीय शनिवार को ‘पड़ाव चेम्बर` किया जा रहा है ताकि उद्योगों की समस्याओं का समाधान किया जा सके। व्यापार की समस्याओं के संकलन के उद्देश्‍य से समूहवार बैठकों के लिए “चेम्बर संवाद” कार्यक्रम प्रारंभ किया गया है। आज आयोजित बैठक में आपके द्बारा जिन समस्याओं की ओर ध्यान आकर्षित कराया जायेगा उनका शीघ्रता से निराकरण कराने का प्रयास किया जायेगा। बैठक का संचालन कर रहे मानसेवी सचिव-दीपक अग्रवाल ने कहा कि चेम्बर संवाद का उद्देश्‍य आपसे प्राप्त समस्याओं/सुझावों का संकलन कर, उस पर तेजी से कार्य करना है। चेम्बर संवाद का यह सिलसिला लगातार जारी रहेगा। पूर्व मानसेवी संयुक्त सचिव-नरेश सिंघल ने कहा कि पूर्व में बाजारों की एसोसिएशन उधारी की वसूली पर कार्यवाही करते हुए जांच व निर्णय देती थीं और डिक्री भी पारित करती थीं जिसे न्यायालय द्बारा भी मान्यता दी जाती थी। वर्तमान में भी एसोसिएशन को इस समस्या के समाधान के लिए अपनी भूमिका का निर्वाहन करना चाहिए। 

कार्यकारिणी समिति सदस्य-रोशन गाबरा ने कहा कि थोक कपड़ा व्यवसाय में इंफ्रास्ट्रक्चर की बहुत आवश्‍यकता है क्योंकि हमारे पुराने बाजार अब संकरे हो गये हैं। शहर में थोक एवं रिटेल के लिए एक मल्टीलेबल मार्केट की बहुत आवश्‍यकता है। जहां पर्याप्त पार्किंग एरिया भी हो। आज लोगों के पास समय कम है और डिजिटल कार्ड ज्यादा हैं जिससे वह सुविधानुसार खरीदी करते हैं। इसलिए आवश्‍यकता है कि एक सर्वसुविधायुक्त होलसेल और रिटेल दोनों का मार्केट बने। ग्वालियर में पूर्व में कपड़ा मैन्युफेक्चरिंग यूनिट भी थीं जो कि अब नहीं हैं। भीलवाड़ा क्षेत्र इसमें अग्रणी हैं, जिसमें ग्वालियर के नाम से कपड़ा आज भी बनता है। इसलिए यहां पर भी  मैन्युफेक्चरिंग यूनिट लगें, इसके प्रयास होना चाहिए। कार्यकारिणी समिति सदस्य-धर्मेश गुप्ता ने कहा कि कपड़े के थोक मार्केट में उधारी की समस्या रहती है। रिटेल व्यापारी एक बाजार की उधारी चुकाये बिना दूसरे थोक बाजार से माल उधार ले जाता है। इसमें दलालों की भूमिका भी होती है। इस कारण उधारी की वसूली नहीं हो पाती है। इसके लिए आवश्‍यक है कि ग्वालियर के सभी थोक व्यवसायियों व दलालों के साथ बैठक हो और इसमें दलालों के रजिस्ट्रेशन सहित उधार कपड़ा दिये जाने के नियम व शर्तों पर विचार किया जाए ताकि उधारी व वसूली की समस्या का समाधान हो सके। 

कार्यकारिणी समिति सदस्य-मोहन माहेश्वरी ने कहा कि दही मण्डी में पार्किंग की समस्या के चलते व्यापार प्रभावित हो रहा है। इसके लिए निगम कमिश्नर महोदय के साथ पार्किंग व्यवस्था का निरीक्षण कराया जाये। पार्किंग एरिया की मार्किंग व पेड पार्किंग से यह समस्या दूर की जा सकती है। कार्यकारिणी समिति सदस्य-घनश्यामदास नागवानी ने कहा कि दौलतगंज में राँग साइड से वाहन आते हैं, इसका यातायात व्यवस्था पर असर पड़ता है। वहीं बाजारों में विद्युत कटौती से भी व्यापार प्रभावित हो रहा है। साथ ही आपने चेम्बर में विद्युत शिविर पूर्व की भांति लगाये जाने का सुझाव दिया। बैठक में प्रदीप भवानी, महेश खटोड़, अभिनंदन जैन, अमित बत्रा, कुंजम बत्रा आदि ने भी अपने बहुमूल्य सुझाव प्रस्तुत किये। अध्यक्ष महोदय ने बैठक में प्राप्त समस्याओं/सुझावों पर कहा कि नवीन थोक बाजार, उधारी, दलालों/एजेंट के पंजीयन पर थोक व रिटेल कपड़ा व्यवसायियों की पृथक बैठक की जायेगी ताकि समस्या का निदान शीघ्रता से हो सके। बैठक के अंत में उपाध्यक्ष-डॉ. राकेश अग्रवाल द्बारा सभी सदस्यों का आभार व्यक्त किया गया।

G News 24 :80 लड़कियों को एक साथ दे दिया जहर

 सामने आई तालिबान की हैवानियत ! 

80 लड़कियों को एक साथ दे दिया जहर

तालिबान शासित अफगानिस्तान में महिला-विरोधी अत्याचार रुकने का नाम नहीं ले रहा. तालिबान में बर्बरता का एक चौंका देने वाला मामला सामने आया है. 4 जून को उत्तरी अफगानिस्तान के सर-ए-पुल प्रांत में प्राथमिक स्कूलों में लगभग 80 लड़कियों को दो अलग-अलग हमलों में ज़हर दे दिया गया. जहर के असर से हालत बिगड़ने पर सभी लड़कियों को अस्पताल में भर्ती कराना पड़ा है. एक स्थानीय शिक्षा अधिकारी ने लड़कियों को ज़हर देने की घटनाओं की पुष्टि की. शिक्षा अधिकारी ने कहा कि जहर देने वाले व्यक्ति की व्यक्तिगत दुश्मनी थी. अधिकारी ने घटना के बारे में विस्तार से नहीं बताया. प्रांतीय शिक्षा विभाग के प्रमुख मोहम्मद रहमानी के अनुसार, सर-ए-पुल के संगचरक जिले में कुल 80 छात्राओं को जहर दिया गया था.उन्होंने कहा कि नसवान-ए-कबोद आब स्कूल में 60 छात्रों को जहर दिया गया था और नसवान-ए-फैजाबाद स्कूल में 17 अन्य को जहर दिया गया था. उन्होंने कहा, "दोनों प्राथमिक स्कूल एक-दूसरे के करीब हैं और एक के बाद एक उन्हें निशाना बनाया गया." "हमने छात्रों को अस्पताल में स्थानांतरित कर दिया और अब वे सभी ठीक हैं."

अगस्त 2021 में काबुल में लोकतांत्रिक रूप से निर्वाचित राष्ट्रपति अशरफ गनी की सरकार को बदलने के बाद, विश्व स्तर पर गैर-मान्यता प्राप्त तालिबान सरकार ने इसे अफगान महिलाओं और लड़कियों के अधिकारों और स्वतंत्रता को खत्म करने की नीति का मामला बना दिया है. लेकिन यह पहली बार है कि अफगानिस्तान में इतनी भारी तादाद में लड़कियों पर जानलेवा हमला हुआ है. तालिबान ने सत्ता में आने के तुरंत बाद लड़कियों को छठी कक्षा से आगे के स्कूलों में जाने पर प्रतिबंध लगा दिया. दिसंबर 2022 में, सरकार ने महिलाओं के विश्वविद्यालय में जाने पर भी प्रतिबंध लगा दिया. तालिबान के अत्याचार की पीड़ित अफगान महिलाओं ने खुद दिसंबर 2022 में कक्षाओं और विश्वविद्यालयों से निष्कासन के दु:खद दृश्यों का वर्णन किया था. जहर देने की घटना पर रहमानी ने कहा कि विभाग की जांच जारी है और प्रारंभिक पूछताछ से पता चलता है कि किसी ने द्वेष के साथ हमलों को अंजाम देने के लिए ये साजिश रची है. उन्होंने इस बारे में कोई जानकारी नहीं दी कि लड़कियों को कैसे जहर दिया गया. रहमानी ने उनकी उम्र नहीं बताई लेकिन कहा कि वे कक्षा 1 से 6 तक के हैं.

G News 24 :अब UPI के जरिये एटीएम से झट निकाले पैसा

 डेबिट कार्ड को भूल जाइये...

अब UPI के जरिये एटीएम से झट निकाले पैसा

सरकारी क्षेत्र के बैंक ऑफ बड़ौदा (बीओबी) ने UPI के जरिये ATM से पैसा निकालने की सेवा शुरू कर दी है। बीओबी ने सोमवार से अंतःप्रचालनीय कार्डरहित नकद निकासी (आईसीसीडब्ल्यू) सुविधा शुरू कर दी है, जिसमें कोई ग्राहक बैंक के एटीएम से यूपीआई का इस्तेमाल कर नकद निकासी कर सकता है। बीओबी ने बयान में कहा कि वह यूपीआई के जरिये एटीएम से नकद निकासी की सुविधा देने वाला सार्वजनिक क्षेत्र का पहला बैंक है। बैंक ने कहा कि उसकी आईसीसीडब्ल्यू सुविधा का लाभ उठाकर दूसरे बैंक के ग्राहक भी भीम यूपीआई एवं अन्य यूपीआई एप्लिकेशन इस्तेमाल कर एटीएम से नकद निकासी कर सकेंगे। बैंक ऑफ बड़ौदा के एटीएम से नकद निकासी के लिए ग्राहकों को डेबिट कार्ड का इस्तेमाल करने की जरूरत नहीं होगी। 

इस तरह निकाल पाएंगे यूपीआई से पैसा 

इस सेवा का लाभ उठाने के लिए ग्राहक को बैंक ऑफ बड़ौदा के एटीएम पर ‘यूपीआई नकद निकासी’ का विकल्प चुनना होगा। फिर उसे निकाली जाने वाली राशि को दर्ज करने के बाद एटीएम की स्क्रीन पर एक क्यूआर कोड प्रदर्शित होगा। इस कोड को आईसीसीडब्ल्यू के लिए अधिकृत यूपीआई ऐप का इस्तेमाल कर स्कैन करने के बाद लेनदेन के लिए अधिकृत करना होगा। 

डेबिट कार्ड की अब जरूरत नहीं 

बैंक के मुख्य डिजिटल अधिकारी अखिल हांडा ने कहा कि आईसीसीडब्ल्यू सेवा की पेशकश से ग्राहकों को कार्ड का इस्तेमाल किए बगैर नकद निकासी की स्वतंत्रता होगी। बीओबी के एटीएम पर ग्राहक एक दिन में दो लेनदेन कर सकते हैं और एक बार में अधिकतम 5,000 रुपये की निकासी की जा सकती है। 

G Newsa 24: अमृतसर स्वर्ण मंदिर में लहराए गए भिंडरावाला के पोस्टर

खालिस्तान के समर्थन में लगे नारे...

अमृतसर स्वर्ण मंदिर में लहराए गए भिंडरावाला के पोस्टर

अमृतसर l ऑपरेशन ब्लू स्टार की 39वीं बरसी को देखते हुए श्री हरमंदिर साहब के आसपास और उस तरफ जाने वाले सभी रास्तों पर भी पुलिस ने सुरक्षा व्यवस्था को चाकचौबंद कर दिया गया है। इसके साथ ही शहरभर में कई जगहों पर कमांडों भी तैनात किए गए हैं। आज से 39 वर्ष पहले पंजाब के अमृतसर के स्वर्ण मंदिर में ऑपरेशन ब्लू स्टार किया गया था। इस ऑपरेशन में खालिस्तानी समर्थक भिंडरावाला को मार गिराया गया था। इस ऑपरेशन को भारतीय सेना ने अंजाम दिया था। उस ऑपरेशन के बाद आज भी कई पंजाब में जगहों इस ऑपरेशन की बरसी मनाई जाती है। इसी क्रम में श्री हरमंदिर साहिब स्थित श्री अकाल तख्त साहिब पर बरसी समागम आयोजित किया जा रहा है। स्वर्ण मंदिर में भारी संगत उमड़ी। इस दौरान खालिस्तान के नारे लगे और पोस्टर लहराए गए।

स्वर्ण मंदिर के आसपास बढ़ा दी गई सुरक्षा 

इस कार्यक्रम में कुछ लोगों ने भिंडरावाले के पोस्टर लेकर खालिस्तान के समर्थन में नारे लगाए। इसका एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। बता दें कि ऑपरेशन ब्लू स्टार की बरसी को लेकर स्वर्ण मंदिर के आसपास सुरक्षा बढ़ा दी गई है। साथ ही पूरे पंजाब में पुलिस को अलर्ट कर दिया गया है ताकि कानून-व्यवस्था की स्थित बिगड़े नहीं। अमृतसर में 3500 जवानों को तैनात किया गया है। इसके साथ ही श्री हरमंदिर साहब के आसपास और उस तरफ जाने वाले सभी रास्तों पर भी पुलिस का पहरा बिठा दिया गया है। श्री हरिमंदिर साहिब के आसपास पंजाब पुलिस के साथ-साथ कमांडो भी तैनात किए गए हैं।

G News 24 : भारत के पांच ऐसे मंदिर जो एक रात में बनकर हुए थे तैयार !

 हर मंदिर की अपनी रचना से जुड़ी अपनी कहानी है…

भारत के पांच ऐसे मंदिर जो एक रात में बनकर हुए थे तैयार !


हमारे देश में आपने कई मंदिर देखे होंगे, जो किसी चमत्कार से कम नहीं हैं। इनमें से कई सैकड़ों साल पुराने हैं और हर मंदिर की अपनी रचना से जुड़ी अपनी कहानी है। आज हम आपको कुछ ऐसा ही बताने जा रहे हैं, जो एक ही रात में बन गया। इन्हें बनाने के पीछे की कहानी भी बेहद दिलचस्प है, आइए आपको बताते हैं इन मंदिरों के बारे में।

काकनमठो - मध्य प्रदेश के मोराइनों के बीच बने इस प्रसिद्ध मंदिर के निर्माण के पीछे एक कहानी है। ऐसा माना जाता है कि मंदिर का निर्माण शिव भक्तों- भूतों ने रातों-रात करवाया था। इसके अलावा, यह मंदिर मोर्टार या सीमेंट का उपयोग किए बिना बनाया गया था।


गोविंद देव जी मंदिर - मंदिर उत्तर प्रदेश के वृंदावन में स्थित है और स्थानीय लोगों का मानना ??है कि इसे रातों-रात बनाया गया था। इसके अतिरिक्त, लोगों का मानना ??है कि यह संरचना भगवान विष्णु के सम्मान में देवताओं और राक्षसों दोनों द्वारा बनाई गई थी। ऐसा कहा जाता है कि मंदिर को अधूरा छोड़ दिया गया था क्योंकि वे इसे सूर्योदय से पहले पूरा नहीं कर सके थे।


देवघर मंदिर - माना जाता है कि भगवान विश्वकर्मा द्वारा बनाया गया था, झारखंड में देवघर मंदिर भगवान शिव को समर्पित है। एक बार रावण ने शिवलिंग के रूप में भगवान शिव को लंका ले जाने की ठानी। शिव मान गए, लेकिन केवल एक शर्त पर कि लिंग जमीन को नहीं छूना चाहिए। रावण के साथ छेड़छाड़ की गई और शिवलिंग जमीन को छू गया। शिवलिंग जहां जमीन पर था, वहां से उसे हिलाना मुश्किल था। इसलिए भगवान विश्वकर्मा को रातों-रात यहां एक मंदिर बनाना पड़ा।


हटिया देवल - उत्तराखंड के पिथौरागढ़ में भगवान शिव का एक मंदिर है, जिसे हटिया देवल के नाम से जाना जाता है। ऐसा माना जाता है कि इस मंदिर का निर्माण एक ही हाथ के शिल्पकार ने एक रात में किया था। हालांकि रात में पहले शिवलिंग बनवाने के मामले में विपरीत दिशा में किया गया। इस कारण यहां शिवलिंग की पूजा नहीं होती है।


भोजेश्वर मंदिर - स्थानीय लोगों का मानना है कि वनवास के दौरान भगवान शिव ने पांडवों को उनके सपने में दर्शन दिए थे। अगली सुबह उन्होंने अपनी माँ से इस बारे में बात की, जिस पर उन्होंने पांडवों को एक मंदिर बनाने की सलाह दी जहाँ उन्होंने सपना देखा था, इसलिए भोजेश्वर मंदिर का निर्माण रातों-रात पूरा हो गया।



G News 24: भारत का दलाही कुंड जहां ताली बजाने से बाहर आ जाता है पानी !

 नहीं सुलझा पाए वैज्ञानिक तक ये गुत्थी…

भारत का दलाही कुंड जहां ताली बजाने से बाहर आ जाता है पानी !

प्रकृति द्वारा बनाए गए दुनिया में हजारों रहस्य छिपे हैं। आज तक किसी को इनके बारे में पता नहीं चला और ना ही कोई इनका समाधान कर पाया। चाहे वह मंदिर हो, मस्जिद हो या पर्यटन स्थल। आज हम आपको एक ऐसे ही पूल के बारे में बता रहे हैं, जिसके रहस्य अभी तक सुलझे नहीं हैं। यह टैंक झारखंड के बोकारो शहर से 27 किमी दूर स्थित है। जिसे दलाही कुंड के नाम से जाना जाता है। कहा जाता है कि ताली के सामने ताली बजाने से उसका पानी अपने आप ऊपर उठ जाता है। ऐसा लगता है जैसे किसी बर्तन में पानी उबल रहा हो। 

कई बार वैज्ञानिकों ने इस रहस्य को सुलझाने की कोशिश की, लेकिन सफलता नहीं मिली। इसलिए यह कुंड आज तक एक रहस्य है। इस चमत्कार के कारण लोग इस कुंड की भव्यता को देखने के लिए दूर-दूर से आते हैं। तो आइए जानते हैं इस दलाही कुंड के बारे में। इस कुंड की खास बात यह है कि इस कुंड का पानी मौसम के अनुसार बदलता रहता है। पूल का पानी गर्मियों में ठंडा और सर्दियों में गर्म होता है। मान्यता है कि इस तालाब के पानी में नहाने से चर्म रोग दूर होते हैं। भूवैज्ञानिकों का कहना है कि अगर इसके पानी से चर्म रोग ठीक हो जाते हैं तो इसका मतलब है कि इसमें सल्फर और हीलियम गैस है। 

यह टैंक भारत के प्रसिद्ध टैंकों में से एक है। यहां हर साल मकर संक्रांति के दिन विशाल मेला लगता है। यहां दूर-दूर से लोग स्नान करने आते हैं। यह रहस्यमय कुंड देवता दलाही गोसाई का पूजा स्थल है। यहां हर रविवार को लोग पूजा करते हैं। दलाही कुंड में लोगों की काफी आस्था है। लोग जानते हैं कि इस कुंड में स्नान करने से उनकी हर मनोकामना पूरी होती है। इसलिए देश भर से लोग यहां स्नान करने आते हैं। बता दें कि इस कुंड का पानी साफ और औषधीय गुणों से भरपूर है। इसलिए इस पानी से नहाने से कोई साइड इफेक्ट नहीं होता है। इस कुंड पर अब तक कई शोध हो चुके हैं, लेकिन यह पता नहीं चल पाया है कि इस कुंड का पानी कहां से आता है और आखिर कहां जाता है। 

कुछ शोधकर्ताओं के अनुसार यह पानी जमुई नामक एक चैनल के माध्यम से गरगा नदी में बहता है। यहां पानी बहुत कम है। बहुत कम होने के कारण ताली बजाने पर ध्वनि तरंगें उत्पन्न होती हैं। ध्वनि तरंगों के कारण होने वाले कंपन के कारण पानी ऊपर की ओर उठता है। जिससे पानी ऊपर की ओर उठने लगता है। इस कुंड के चारों ओर अब कंक्रीट की दीवारें बनाई गई हैं। यहां रहने वाले लोग आज भी इस जगह को आस्था की नजर से देखते हैं। उनके अनुसार यहां के कुंड में स्नान करने से जीवन की सभी मुश्किलें दूर हो जाती हैं।


G News 24 :शादी की पहली ही रात बन गई आखरी !

 शहनाई की गूंज अचानक मातमी धुन में बदली…

शादी की पहली ही रात बन गई आखरी !

बहराइच। यूपी के बहराइच जिले में एक नवविवाहित जोड़े को उनकी शादी के अगले दिन सुबह मृत पाया गया शादी की पहली ही रात को दूल्हा और दुल्हन दोनों की एक साथ हार्ट अटैक से मौत हो गई दोनों के शव सुहागरात की सेज पर पड़े मिले, इस हैरान कर देने वाली घटना ने नव दंपति के घर शहनाई की गूंज को अचानक मातमी धुन में बदल दिया। दोनों का अंतिम संस्कार एक ही चिता पर किया गया। 

जानकारी के मुताबिक 22 साल के प्रताप यादव ने 30 मई को 20 साल की पुष्पा से शादी की थी बारात वापस दूल्हे के घर लौट आई थी। कैसरगंज पुलिस स्टेशन के प्रभारी निरीक्षक राजनाथ सिंह ने मीडिया से कहा कि दंपति शादी समारोह के दो दिनों के बाद सोने चले गए वह सुबह काफी देर तक कमरे से बाहर नहीं निकले तो दूल्हे के परिवार के लोगों ने कमरे में प्रवेश किया और वहां का दृश्य देखकर चौंक गए बताया गया कि सुहागरात की सजी हुई सेज पर दोनों नवविवाहित मृत अवस्था में पड़े हुए थे। 

इंस्पेक्टर ने कहा कि कमरे में जबरन प्रवेश करने या दंपति के शरीर पर चोट के निशान नहीं थे, जो उनकी मौत में कोई अपराध की ओर इशारा करते हों, लेकिन उसी समय दिल का दौरा पड़ने की पोस्टमार्टम रिपोर्ट के निष्कर्षों ने कुछ आशंकाएं पैदा की हैं, उन्होंने कहा कि फोरेंसिक विशेषज्ञों की एक टीम मौत के पीछे के कारण का पता लगाने के लिए कमरे और परिस्थितियों की जांच कर रही है। 

बहराइच के एसपी प्रशांत वर्मा ने कहा कि पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट से पता चला है कि दोनों पति-पत्नी को एक ही समय में दिल का दौरा पड़ा था। रिपोर्ट्स के मुताबिक कपल को पहले से कार्डियक इश्यूज नहीं था। वर्मा ने यह भी कहा कि दंपति की मौत के पीछे के रहस्य को सुलझाने के लिए दोनों शवों का विसरा लखनऊ में राज्य फोरेंसिक विज्ञान प्रयोगशाला में आगे की जांच के लिए सुरक्षित रखा गया है।