G News 24 : देश में लगने वाली राष्ट्रीय लोक अदालत दे रही हैं लोगों को राहत और शासन का भी बढ़ रहा है कोष !

 लोगों को सस्ता,सुलभ,त्वतरित एवं समय से न्याय मिले, इसी अवधारणा ...

देश में लगने वाली राष्ट्रीय लोक अदालत दे रही हैं लोगों को राहत और शासन का भी बढ़ रहा है कोष !  

ग्वालियर। प्रदेश भर में आयोजित राष्ट्रीय लोक अदालतें लोगों को तो राहत दे ही रही हैं साथ ही साथ इससे शासन का भी कोष  बढ़ रहा है ! जिला ग्वालियर न्यायालय में शनिवार को नेशनल लोक अदालत का आयोजन किया गया इस दौरान लंबित और लिटिगेशन दोनों तरह के कुल 716 प्रकरणों का आपसी सहमति और सुलह  के आधार पर निराकरण किया गया।  इन सभी निराकृतों प्रकरणों में कुल 2 करोड़ 1 लाख 36 हजार 578 रुपए का रिकॉर्ड राजस्व रिवार्ड पारित किया गया ।  

लोक अदालत में लंबे समय से लंबित तमाम मामले निपटाए गए जिनमें मुख्यत: मार-पीट, पारिवारिक झगड़े, एक्सीडेंटल क्लेम,चैक बाउंस,नल-बिजली के बिल से सम्बंधित मामलों सहित अन्य मामलों का आपसी सहमति और सुलह  के आधार पर निराकरण करवाया गया। 

इन मामलो में सबसे महत्वपूर्ण मामला एक सड़क दुर्घटना से संबंधित प्रकरण रहा जिसका निराकरण चतुर्थ शत्र जिला न्यायाधीश विक्रम भार्गव की अदालत में निपटाया गया यह प्रकरण 9 जनवरी 2024 को सड़क हादसे में मारे गए बृजेश रजक से संबंधित था। न्यायाधीश श्री भार्गव की पहल पर बीमा कंपनी और पीड़ित परिजनों के बीच समझौते के आधार पर राजीनामा कराया गया।  इस समझौते के परिणाम स्वरुप मृतक के परिजनों को क्षति पूर्ति के रूप में 20 लाख की बढ़ी हुई राशि दिलवाई गई।

कुल निराकृत प्रकरणो में 204 लंबित एवं 512 प्री-लिटिगेशन मामले शामिल थे। इस लोक अदालत के माध्यम से बिजली कंपनी को भी 105 करोड़ रूपये का राजस्व प्राप्त हुआ। तो वहीं गृह क्लेश के कारण वर्षों से अलग रह रहे दंपति को भी लोकअदालत ने मिलवाकर उनका परिवार टूटने से बचाया। महिला एवं उसके पति के बीच बच्चे के भरण पोषण को लेकर  2023 से प्रकरण चल रहा था, शनिवार को नेशनल लोक अदालत में दोनों को साथ बैठाकर समझोता कराया गया।  इसके बाद दोनों पति -पत्नी  बच्चे के साथ खुशी -खुशी रहने को साथ-साथ रहने को तैयार हो गए। इसके बाद न्यायालय परिसर में ही दोनों ने एक दूसरे को गले में फूलों की माला डाली और छोटी सी बच्ची के साथ देकर खुशी-खुशी अपने घर चले गए। 

माननीय उच्च न्यायालय के आदेशानुसार ग्वालियर में आयोजित नेशनल लोक अदालत में ग्वालियर के 1 से लेकर 66 वार्डों में सम्पत्तिकर के 4089 प्रकरणों का निराकरण किया गया। उक्त प्रकरणों का निराकरण करने पर 5 करोड़ 78 लाख रुपए से अधिक का सम्पत्तिकर प्राप्त हुआ। ग्वालियर ने ही संपत्तिकर एवं जलकर वसूली से 7 करोड़ 45 लाख रुपए से अधिक का राजस्व प्राप्त किया है। ये वसूली देर रात तक जारी रही। संपत्तिकर एवं जलकर वसूली में ग्वालियर नगर निगम प्रदेश में तीसरे स्थान पर रहा।

अपर आयुक्त मुनीष सिंह सिकरवार ने जानकारी देते हुए बताया कि नगर निगम आयुक्त श्री संघ प्रिय के निर्देशन में समस्त वसूली प्रभारी द्वारा कार्य करते हुए नगर निगम ग्वालियर ने  आज नेशनल लोक अदालत के दौरान नवीन जिला न्यायालय परिसर में नगर पालिक निगम ग्वालियर द्वारा संपत्ति कर एवं जलकर संबंधी प्रकरणों का निराकरण किया गया।

जिसमें ग्वालियर विधानसभा के अंतर्गत उपायुक्त श्री उत्तम जखेनिया के नेतृत्व में 1107 प्रकरणों का निराकरण करते हुये 1 करोड़ 6 लाख 77 हजार रूपये सम्पत्तिकर प्राप्त हुआ। ग्वालियर पूर्व विधानसभा में उपायुक्त डॉक्टर प्रदीप श्रीवास्तव के नेतृत्व में सबसे अधिक प्रकरण संख्या 1638 निराकृत किये गये एवं सबसे अधिक सम्पत्तिकर राशि 2 करोड 46 लाख रूपये से अधिक ग्वालियर पूर्व विधानसभा में प्राप्त की गयी । इसी क्रम में ग्वालियर दक्षिण में उपायुक्त श्री मुकेश बंसल के नेतृत्व में 838 प्रकरण निराकृत कर 89 लाख से अधिक की राशि एवं ग्वालियर ग्रामीण में उपायुक्त श्री रजनीश गुप्ता के नेतृत्व में 506 प्रकरणों का निराकरण करते हुये 1 करोड़ 35 लाख रूपये सम्पत्तिकर प्राप्त हुआ। नगर पालिक निगम ग्वालियर के द्वारा जल प्रदाय के सभी कार्यालयों में लोक अदालत हेतु विशेष काउंटर जलकर वसूली हेतु आयोजित किये गये थे। जलकर के रूप में 1 करोड़ 66  लाख  रूपये राशि से अधिक जलकर प्राप्त किया गया।

उच्च न्यायालय ने निपटाए 379 प्रकरण,पक्षकारों को दिलाया 4.19 करोड़ रुपए से अधिक का क्षतिधन ...  

उच्च न्यायालय खण्डपीठ-ग्वालियर में शनिवार 13 दिसम्बर को नेशनल लोक अदालत का आयोजन किया गया। मुख्य न्यायाधिपति एवं मुख्य संरक्षक राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण जबलपुर के निर्देशन तथा न्यायमूर्ति आनंद पाठक, प्रशासनिक न्यायाधिपति उच्च न्यायालय खण्डपीठ-ग्वालियर के मार्गदर्शन में आयोजित हुई नेशनल लोक अदालत में कुल 379 प्रकरणों का निराकरण किया गया। साथ ही मोटर दुर्घटना क्लेम अपील प्रकरणों में पीडित पक्षकारों को 4 करोड 19 लाख 9 हजार रुपए से अधिक अतिरिक्त क्षतिधन दिलाया गया। 

नेशनल लोक अदालत में प्रकरणों के निराकरण के लिये न्यायाधिपति मिलिंद रमेश फड़के व एडवोकेट ऋषि कुमार कटारे एवं न्यायाधिपति आशीष श्रोती व एडवोकेट रजनीश शर्मा की कुल 02 खण्डपीठें गठित की गई थीं। इन खण्डपीठों द्वारा आपसी सहमति के आधार पर प्रकरणों का निराकरण किया गया। 

उच्च न्यायालय खण्डपीठ-ग्वालियर के प्रिंसिपल रजिस्ट्रार राजीव के. पाल ने बताया कि लोक अदालत का मूल उद्देश्य आपसी वैमनस्यता एवं विवादों का आपसी सहमति व राजीनामा के आधार पर प्रकरणों का निराकरण करना है। इसमें उभयपक्ष के मध्य विद्यमान विवाद बिना किसी की हार-जीत के साथ समाप्त होते हैं। इसी मूल भावना को आधार बनाकर नेशनल लोक अदालत के आयोजन से पहले न्यायमूर्ति श्री आनंद पाठक प्रशासनिक न्यायाधिपति उच्च न्यायालय खण्डपीठ ग्वालियर के मार्गदर्शन में उच्च न्यायालय में विचाराधीन राजीनामा योग्य प्रकरणों मुख्यतः बीमा कंपनी के प्रकरणों को चिन्हित कर सूची तैयार की गई थी। साथ ही बीमा कंपनी के अधिकारी, अधिवक्तागण तथा पक्षकारों के साथ प्री-सिटिंग मीटिंग आयोजित कर राजीनामा के आधार पर प्रकरणों के निराकरण के लिये उभयपक्ष में सहमति बनाई गई। जिसके फलस्वरूप 172 क्लेम प्रकरणों सहित कुल 379 प्रकरणों का उक्त लोक अदालत में निराकरण किया गया है। 

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