G News 24 : गरियाबंद में 10 नक्सली मारे गए,1 करोड़ का इनामी नक्सली मोडेम बालकृष्ण भी हुआ ढेर !

 छत्तीसगढ़ के गरियाबंद में सुरक्षाबलों की बड़ी सफलता...

गरियाबंद में 10 नक्सली मारे गए,1 करोड़ का इनामी नक्सली मोडेम बालकृष्ण भी हुआ ढेर !

छत्तीसगढ़ के गरियाबंद के मैनपुर के जंगल में पुलिस और नक्सलियों के बीच हुई मुठभेड़ में सुरक्षाबलों ने 10 नक्सलियों को मार गिराया है, जिसमें 1 करोड़ के इनामी नक्सली मनोज उर्फ मोडेम बालकृष्ण भी शामिल है. छत्तीसगढ़ के गरियाबंद जिले में सुरक्षा बलों को बड़ी सफलता मिली है और एक मुठभेड़ में 10 नक्सलियों को ढेर कर दिया है. सीआरपीएफ E30 STF COBRA और जिला पुलिस ने जॉइंट ऑपरेशन में केंद्रीय समिति (CC) के सदस्य मनोज उर्फ ​​मोडेम बालकृष्ण समेत 10 माओवादियों को मार गिराया है. बालकृष्ण अविभाजित आंध्र प्रदेश का रहने वाले था और दशकों पहले नक्सल आंदोलन में शामिल हुए था, जिस पर 1 करोड़ रुपये इनाम था. सुरक्षा बलों को किसी तरह का नुकसान नहीं हुआ है और सुरक्षित हैं. इसके साथ इलाके में सर्च ऑपरेशन जारी है और यह पता लगाने की कोशिश की जा रही कि मुठभेड़ में कोई और माओवादी घायल हुआ है या मारा तो नहीं गया है.

गरियाबंद के एसपी निखिल राखेचा ने जानकारी देते हुए बताया कि गरियाबंद जिले में सुरक्षा बलों ने सीसी सदस्य मनोज उर्फ ​​मोडेम बालकृष्ण समेत 10 नक्सलियों को मार गिराया है. इससे पहले बुधवार रात को बालकृष्ण और अन्य हथियारबंद माओवादियों के इलाके में छिपे होने की सूचना मिली थी, जिसके आधार पर सर्च ऑपरेशन शुरू किया गया. इसके बाद गुरुवार दोपहर में माटल इलाके के जंगलों में एनकाउंटर शुरू हुआ था. सूचना के आधार पर गरियाबंद जिले के विशेष नक्सल-विरोधी बल एलीट 30, स्पेशल टास्क फोर्स और केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (CRPF) की विशिष्ट इकाई कमांडो बटालियन फॉर रेज़ोल्यूट एक्शन (कोबरा) की एक संयुक्त टीम ने अभियान शुरू किया.

एनकाउंटर के बाद कई हथियार बरामद...

पुलिस महानिरीक्षक अमरेश मिश्रा ने कहा, 'मुठभेड़ दोपहर में शुरू हुई. माओवादियों ने हमारे बलों पर अंधाधुंध गोलीबारी की, जिसके बाद हमने जवाबी कार्रवाई की. शाम तक गोलीबारी जारी रही. मुठभेड़ समाप्त होने के बाद तलाशी अभियान चलाया गया और शव बरामद किए गए. उनकी पहचान की जा रही है. स्वचालित हथियारों सहित कई हथियार बरामद किए गए हैं.' उन्होंने आगे कहा कि जवान सुरक्षित हैं, लेकिन सतर्कता बरती जा रही है, क्योंकि माओवादी अक्सर अभियान से लौटते समय कर्मियों पर इम्प्रोवाइज्ड एक्सप्लोसिव डिवाइस (IED) से हमला करते हैं.

एनकाउंटर में चुनौती का करना पड़ा सामना...

अभियान में सुरक्षा बलों के सामने आने वाली चुनौतियों के बारे में पूछे जाने पर एक अन्य अधिकारी ने कहा, 'मुठभेड़ स्थल घने जंगलों में है और पहाड़ी इलाका होने के कारण पहुंचना बेहद मुश्किल है. यह अभियान भारी बारिश के दौरान चलाया गया और ढेर सारी लताएं और छोटी नदियां इसे और भी मुश्किल बना रही थीं. एक वरिष्ठ अधिकारी ने पुष्टि की कि बालकृष्ण समेत 10 माओवादी मारे गए हैं. सीसी माओवादियों का दूसरा सबसे बड़ा निकाय है, जो पोलित ब्यूरो के ठीक नीचे है.

अबूझमाड़ में सक्रिय 16 नक्सलियों ने किया सरेंडर...

इससे पहले नारायणपुर जिले में नक्सल उन्मूलन अभियान को बड़ी सफलता मिली है. पुलिस के लगातार दबाव और समाज की मुख्यधारा से जुड़ने की पहल के परिणामस्वरूप मंगलवार को कुल 16 नक्सलियों ने नारायणपुर पुलिस अधीक्षक रोबिनसन गुड़िया (भा.पु.से.) के समक्ष आत्मसमर्पण कर दिया. आत्मसमर्पण करने वालों में जनताना सरकार सदस्य, पंचायत मिलिशिया डिप्टी कमांडर, पंचायत सरकार सदस्य, न्याय शाखा अध्यक्ष सहित कई पदाधिकारी शामिल हैं. ये सभी लंका और डूंगा जैसे घोर नक्सल प्रभावित क्षेत्रों से ताल्लुक रखते हैं.

नक्सलियों ने किया आत्मसमर्पण...

इंट्रोगेशन में आत्मसमर्पित नक्सलियों ने खुलासा किया कि शीर्ष कैडर के माओवादी लीडर ही आदिवासियों के असली दुश्मन हैं. वे जल-जंगल-जमीन की रक्षा और न्याय दिलाने के नाम पर स्थानीय आदिवासियों का शोषण करते हैं. विशेषकर महिला नक्सलियों को शारीरिक और मानसिक दोनों रूपों से प्रताड़ित किया जाता है. स्थानीय माओवादियों को राशन, दवाई, हथियार ढोने और आईईडी लगाने जैसे खतरनाक कार्यों में लगाया जाता है, जबकि बड़े लीडर ऐशो-आराम की जिंदगी जीते हैं.

Reactions

Post a Comment

0 Comments