ईरान में भूमिगत बना ये परमाणु संयंत्र पहाड़ों के सैकड़ों फीट नीचे बना है...
ईरान के पाताललोक में बने परमाणु ठिकाने को 14 टन वजनी महाबम से तबाह करेगा अमेरिका !
इजरायल ने पांच दिनों की जंग में मिसाइल हमलों से ईरान को धुआं धुआं कर दिया है, लेकिन अभी भी वो सबसे बड़े टारगेट IIran Nuclear Programme को छू भी नहीं पाया है. हम बात कर रहे हैं ईरान के फोरडो परमाणु संयंत्र की, जो पाताललोक में बना है. ईरान के भूमिगत परमाणु संयंत्र का पता चला है, जो पहाड़ों के सैकड़ों फीट नीचे बना है. दावा किया जाता है कि किसी भी सामान्य मिसाइल हमले में इसे निशाना नहीं बनाया जा सकता. सिर्फ अमेरिका के पास वो ताकत है. मिडिया रिपोर्ट की मानें तो सिर्फ अमेरिका के पास ही वो शक्तिशाली बम है, जो पहाड़ों के नीचे सैकड़ों फीट नीचे बने इस एटमी ठिकाने को तबाह कर सकता है.
इसी फोरडो परमाणु संयंत्र में ही ईरान ने संवर्धित यूरेनियम के जरिये सबसे ज्यादा सेंट्रीफ्यूज छिपा रखे हैं. इजरायल के अमेरिका में राजदूत ने दावा किया है कि सिर्फ अमेरिकी बम ही पहाड़ों के अंदर बने इस भूमिगत नाभिकीय संयंत्र (Fordow nuclear site) को ध्वस्त कर सकता है. राजदूत येचेल लिटर ने ये खुलासा ऐसे वक्त किया है, जब अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप जी7 समिट बीच में ही छोड़कर अमेरिका लौटे हैं. उन्होंने अगले दो दिनों में कुछ बड़ा फैसला लेने का संकेत भी दिया है. तो क्या इजरायली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू की तरह डोनाल्ड ट्रंप भी तेहरान को इसीलिए खाली करने की चेतावनी जारी कर रहे हैं. क्या अमेरिका फोरडो संयंत्र को निशाना बना सकता है.
मैक्सर टेक्नोलॉजी ने सैटेलाइट इमेज से मध्य तेहरान के पास उस ठिकाने की एक तस्वीर भी जारी की है. फोरडो एटॉमिक प्लांट उत्तरी ईरान के कोम प्रांत की पहाड़ियों के नीचे बनाया गया है. यहां बेहद हाईग्रेड यानी उच्च गुणवत्ता वाले सेंट्रीफ्यूज का भंडार सुरक्षित रखा गया है. बताया जाता है कि जमीन से करीब 80-90 फीट नीचे ये भूमिगत संयंत्र है और मिसाइल हमलों से भी इसका बाल बांका नहीं हो सकता है.
अमेरिका के पास बमवर्षक विमान बी2 बॉम्बर है, जिसमें बेहद घातक बम एमओपी फिट किया जा सकता है. ये MOP जमीन के सैकड़ों फीट नीचे बने बंकर को भी ब्लास्ट कर ध्वस्त कर सकता है. लिटर ने एक इंटरव्यू में कहा, सिर्फ अमेरिका वो ताकत रखता है, जो हवा में बम गिराकर उस संयंत्र को तबाह कर दे. यह निर्णय अमेरिका को लेना है कि वो ऐसा कदम उठाना चाहता है या नहीं. हालांकि सैन्य विशेषज्ञों का कहना है कि ये गारंटी नहीं है कि एक बम से ऐसा संभव हो सके. रॉयल ऑस्ट्रेलियन एयरफोर्स के पूर्व अफसर पीटर लायटन ने कहा, फोरडो पर लगातार बमबारी करके ही इसे ध्वस्त किया जा सकता है.
लिटर ने हालांकि कहा कि सिर्फ अमेरिकी बम ही विकल्प नहीं है. फोरडो से निपटने के दूसरे रास्ते भी हैं. उन्होंने भी ईरान पर अगले कुछ दिनों में सबसे भयंकर हमले के संकेत भी दिए. लिटर ने शायराना अंदाज में कहा, जब धूल और धुएं का गुबार बैठ जाएगा तो गुरुवार रात या शुक्रवार को आप ऐसा ऑपरेशन देखेंगे, जो देखने में बेहद सामान्य होगा, लेकिन निर्णायक साबित होगा.










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