आंगनबाड़ी में सोलर लाईट सिस्टम की करें व्यवस्था : श्री ओझा

बैठक में श्योपुर जिले में कराये गये कायों की सराहना…
आंगनबाड़ी में सोलर लाईट सिस्टम की करें व्यवस्था : श्री ओझा

ग्वालियर। ग्वालियर-चंबल संभाग के कमिश्नर एमबी ओझा ने कहा है कि राज्य सरकार द्वारा कुपोषण निदान की दिशा में निरंतर प्रयास किये जा रहे है। जिसमें आगनबाडी केन्द्रो में आने वाले बच्चो को भरपेट खाने की सुविधा दी जा रही है। आगनबाडियो को और सशक्त बनाने की दिशा में सोलर लाईट सिस्टम की व्यवस्था सुनिश्चि करे। जिससे हर आगनबाडी में एक पंखा और एक ट्यूब लाईट के माध्यम से बच्चो का आगनबाडी केन्द्रो में नियमित आने का रूझान बढेगा।  वे आज कलेक्टर कार्यालय श्योपुर के सभागार में विभिन्न विभागो के कार्यो की समीक्षा बैठक को संबोधित कर रहे थे। बैठक में चंबलरेज के एडीजीपी डीपी गुप्ता, कलेक्टर श्योपुर केश कुमार श्रीवास्तव, पुलिस अधीक्षक  सम्पत उपाध्याय, सीईओ जिला पंचायत हर्ष सिहं, डीएफओ सामान्य वन मंडल सुंधाशु यादव, सहायक कलेक्टर पवार नवजीवन विजय सहित विभिन्न विभागो के कार्यालय प्रमुख / जिला अधिकारी उपस्थित थे।

कमिश्नर ग्वालियर-चंलब संभाग एमबी ओझा ने कहा कि आगनबाडी केन्द्रो में सोलर लाईट सिस्टम के माध्यम से एक पंखा एवं एक ट्यूब लाईट आसानी से चलाये जा सकते है। जिस पर 06 हजार रूपयें मात्र खर्चा आयेगा। साथ ही आगनबाडियो की व्यवस्थाएं बेहतर होगी। उन्होने कहा कि डे-केयर सेंटरो को ओर अधिक प्रभावी बनाया जावे। जिससे डे-केयर सेंटर पर बच्चो को सभी प्रकार की सुविधाएं मिलेगी। उन्होने कहा कि कुपोषण निदान की दिशा में सहरिया परिवार की मुखिया महिला को एक हजार रूपये प्रतिमाह दिये जा रहे है। जिससे महिला अपने बच्चो का पालन-पोषण बेहतर तरीके से कर सकेगी। साथ ही कुपोषण निदान में इस राशि का सदउपयोग होगा। उन्होने कहा कि मप्र डे-आजीविका मिशन के माध्यम से आम, अमरूद के बगीचे सहरिया क्षेत्र में लगाने की अनुकरणीय पहल की है। जिसमें केशर आम का पौधा दो वर्ष में फल देने लगता है। जिससे उनकी आय में इजाफा होगा। इसी प्रकार अमरूद की बैरायटी आजीविका मिशन के माध्यम सहरिया परिवारो के बगीचे में लगाई जा रही है। जिसमें एक वर्ष में फल देने की शुरूआत होगी। उन्होने कहा कि स्वसहायता समूहो से सहरिया परिवारो को जोडा जावे। जिससे वे अपनी आमदनी बढ़ा सकें।

संभागायुक्त श्री ओझा ने कहा कि नोवेल कोरोना वायरस कोविड-19 के अंतर्गत श्योपुर जिले में 04 केश पॉजीटिव सामने आये थे। जिला प्रशासन द्वारा इन केशो को व्यवस्थित तरीके से हैण्डल करने की कार्यवाही की गई। उन्होने कहा कि कोरोना टेस्ट के लिए श्योपुर जिले में मशीन प्रदान की जा रही है। जिससे टेस्ट के लिए बाहर नही भेजा जावेगा। इस मशीन की सुविधा से जांच भी श्योपुर में आसानी से की जा सकेगी। उन्होने कहा कि मनरेगा के अंतर्गत प्रवासी मजदूरों को रोजगार देने की व्यवस्था जारी रखी जावे। उन्होने कहा कि जल संसाधन विभाग के माध्यम से स्टॉप डैम के कार्य कराये जावे। जिससे स्टॉप डैम में भरने वाला पानी फसल और पशुओ के पीने के काम आयेगा।

उन्होने कहा कि गेहू, चना, सरसो उपार्जन कार्य व्यवस्थित तरीके से चल रहा है। इस कार्य के अंतर्गत फसल बेचने से शेष रहे किसानो को बडे पैमाने पर 23 मई को एसएमएस भेजे जावेगे। इसके अलावा खरीफ फसलो की तैयारियां निरंतर जारी रखी जावे। जिसके अतंर्गत खाद-बीज की व्यवस्था में कोई कमी नही आनी चाहिए। इसी प्रकार उद्यानिकी के क्षेत्र में सब्जी के एरिया को बढाने के प्रयास किये जावे। उन्होने कहा कि जिले में स्वीकृत की गई गौशालाओ का संचालन ग्राम पंचायत के माध्यम से कराने की व्यवस्था को प्रभावी बनाया जावे। कमिश्नर श्री ओझा ने बैठक में कहा कि ग्रीष्मकाल के मद्देनजर नलजल योजना एवं हैण्डपम्पो के संधारण का कार्य तेजी से कराया जावे। साथ ही नवीन स्वीकृत योजना एवं हैण्डपम्प का कार्य समय सीमा में पूरा कराया जावे। उन्होने कहा कि जल जीवन मिशन चालू किया जा रहा है। जिसके अंतर्गत 2024 तक हाउसहोल्ड कनेक्शन प्रदान किये जावेगे।

चंबल रेज के एडीजीपी श्री डीपी गुप्ता ने बैठक को संबोधित करते हुए कहा कि श्योपुर जिले की सभी आगनबाडी केन्द्रो में सहजना का पेड आवश्य लगाया जावे। यह पेड फली देकर कुपोषण निदान में सहायक बनेगा। साथ ही पोष्टिक आहार के रूप में सहजना की फली को उपयोग में लाया जा सकता है। उन्होने कहा कि ऊचीखोरी कराहल के आगनबाडी केन्द्र को गोद लिया गया था। इस केन्द्र का संचालन व्यवस्थित तरीके से होने से केन्द्र पर आने वाले बच्चो को कुपोषण से मुक्ति मिली है। उन्होने कहा कि नोबल कोरोना वायरस कोविड-19 संक्रमण के दौरान पुलिस प्रशासन द्वारा परिस्थितियों को लॉकडाउन में व्यवस्थित तरीके से हैण्डल किया गया। जिससे श्योपुर जिला ने संक्रमण से निजात पाने में सफलता प्राप्त की है। 

कलेक्टर राकेश कुमार श्रीवास्तव ने बैठक मे अवगत कराया कि नोबल कोरोना वायरस कोविड-19 के अंतर्गत सभी प्रकार की व्यवस्थाओ को जिला प्रशासन द्वारा समय रहते हैण्डल किया है। साथ ही लॉकडाउन में भी प्रशासन को सभी का सहयोग मिला है। उन्होने कहा कि श्योपुर में 04 केशो की स्थिति के कारण क्षेत्र को केन्टोनमेंट जोन घोषित किया था। 04 पॉजिटिव व्यक्ति घर पहुंच चुके है। जिले के शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्र में आम लोगो की आवश्यकता के अनुरूप दुकाने खोली गई है। कलेक्टर ने कहा कि कोटा से बच्चो को लाने की व्यवस्था प्रशासन द्वारा सुनिश्चित की गई। साथ ही प्रवासी मजदूरो का आगमन जिला और प्रदेश के जिलो के लिए सामरसा बॉर्डर पर हो रहा है। उन्होने कहा कि प्रवासी मजदूरो को मनरेगा के अंतर्गत कार्य दिया जा रहा है। जिले में 6272 कार्य प्रगति पर है। इन कार्यो में 21935 लेबर लाभान्वित हुई है।

कलेक्टर ने कहा कि प्रधानमंत्री आवास योजना में 83.58 प्रतिशत आवासो का कार्य पूरा हो चुका है। श्योपुर जिला राज्य में आवास पूर्णता में तीसरे स्थान पर है। उन्होने कहा कि स्वच्छ भारत मिशन के अंतर्गत 87145 शौचालय बनाये गये है। प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना वाटरशैड विकास अंतर्गत 11 कार्य प्रगति पर है। जिसमें 05 तालाब, फार्म पोण्ड 06 शमिल है। उन्होने कहा कि वाबडीयो का जीणोद्धार कराने में प्रशासन द्वारा कार्यवाही शुरू की गई है। इसी प्रकार मप्र डे-आजीविका ग्रामीण मिशन के माध्यम से 5148 स्वसहायता समूहो से 56960 व्यक्तियों को जोडा गया है। साथ ही 68947 लक्षित परिवार लाभान्वित हो रहे है। उन्होने कहा कि आम, अमरूद, एप्पल बैल, केला के उत्पादन की दिशा में 10 हजार हितग्राही लाभान्वित कराये गये है। इसी प्रकार आजीविका नर्सरी भी तैयार की गई है।

पुलिस अधीक्षक म्पत उपाध्याय ने बैठक में अवगत कराया नोबल कोरोना वायरस कोविड-19 के अंतर्गत श्योपुर जिलें में सम्पूर्ण लॉकडाउन रहा था। जिसके अंतर्गत हसनपुर हवेली के 04 व्यक्ति कोरोना पॉजिटिव पाये गये थे। इस कारण से सम्पूर्ण क्षेत्र को बंद किया जाकर केंटोन्मेंट जोन के मान से पुलिस फोर्स लगाया। उन्होने कहा कि इस क्षेत्र में कैमरा, पीए सिस्टम एवं ड्रोन कैमरा से भी निगरानी कराई गई। श्योपुर जिले के सभी बॉर्डरो को शील्ड किया गया। उन्होने कहा कि वर्तमान में मार्केट खोल दिये गये है। फिर भी संक्रमण के मद्देनजर बॉर्डर क्षेत्र में निगरानी रखी जा रही है। इसी प्रकार श्योपुर शहर की दुकानो पर मास्क लगाने का पालन किया जा रहा है।

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