स्वयं बना सकते हैं सेनिटाइजर...
कोरोना से बचाव के लिए जेयू में सेनिटाइजर बनाने की दी ट्रेनिंग
आजकल कोरोना से बचाव के लिए बाजार में सेनेटाइजर मिल रहे हैं, जिनकी कीमत ज्यादा भी होती है। आज इस सेनेटाइजर को घर पर ही बना सकते हैं। 10 से 15 मिनट में बनने वाले इस सेनिटाइजर से हाथों को अच्छे से रब करें। इससे आप पूरी तरह से हाइजेनिक रह सकते हैं। यह बात एक्सपर्ट वर्षा शर्मा ने कही। वह जीवाजी यूनिवर्सिटी अब्दुल कलाम सेंट्रल इंस्ट्रूमेंटेशन फैसिलिटी लेबोरेटरी में शुरू हुए ट्रेनिंग प्रोग्राम में सेनिटाइजर बनाने के बारे में बता रही थीं। उन्होंने कहा
सौ मिली लीटर सेनेटाइजर को बनाने के लिए 70 मिली लीटर आइसो प्रोपाइल अल्कोहल लें। यह कैमिस्ट पर आसानी से एब्सोल्यूट इथेनाॅल नाम से मिल जाता है। यह वाइरस, बैक्टीरिया को आसानी से मार सकता है। इसमें दो से पांच मिली लीटर तक की मात्रा एलोवीरा जैल या ग्लिसरीन की मिलाएं। यह हाथों में नमी बनाए रखने के लिए मिक्स किया जाता है। इसमें 30 मिली लीटर पानी मिलाएं। इसके अलावा खूश्बू के लिए जैतून, नारियल, गुलाब जल या बादाम के तैल की कुछ बूंदें मिला सकते हैं। इन सबको अच्छे से मिक्स करें। इसके बाद इसे छान लें, ताकि अनाावश्यक कण बाहर निकल जाएं। तैयार होने के बाद इससे हाथों को अच्छे से रब करें, ताकि इसके बाद इसे हैंड रब करने के लिए यूज कर सकते हैं। इस पूरी प्रक्रिया में 10 से 15 मिनट का समय लगता है और खर्च भी ज्यादा नहीं आता।
कोरोना के प्रभाव को देखते हुए जीवाजी यूनिवर्सिटी में शुक्रवार को कोरोना टास्क फोर्स का शुभारंभ कुलपति प्रो. संगीता शुक्ला, कुलसचिव प्रो. एपीएस चैहान ने किया। कोरोना टास्क फोर्स नाम की यह एंबुलेंस यूनिवर्सिटी परिसर के अलावा अन्य जगहों पर घूमेगी। इस पर संपर्क के लिए नंबर भी दिए गए हैं। यदि कोरोना से संबंधित कोई केस या समस्या आती है, तो 9893488281, 7389012410 नंबरों पर संपर्क किया जा सकता है। इसके अलावा जेयू कर्मियों को मास्क भी वितरित किए गए। इस अवसर पर डाॅ. केशव सिंह गुर्जर, डिप्टी रजिस्ट्रार डाॅ. राजीव मिश्रा, प्रो. हेमंत शर्मा और डाॅ. आलोक पुरोहित सहित अन्य लोग मौजूद रहे।
जीवाजी यूनिवर्सिटी में कोरोना वाइरस के संबंध में शुक्रवार को कुलपति प्रो. संगीता शुक्ला द्वारा गठित समिति की बैठक हुई। इसमें निर्णय हुआ कि कोरोना से बचाव के लिए हेल्थ सेंटर में वितरित की जाने वाली होम्योपैथिक दवाओं के वितरण कार्य जारी रहेगा। सीआईएफ लैब द्वारा बनाए जा रहे सेनिटाइजर से जेयू के सभी विभाग व कार्यालयों को डिस्इन्फेंट कराने की बात हुई। इस अवसर पर समिति के सदस्यों में प्रो. डीडी अग्रवाल, प्रो. अविनाश तिवारी, प्रो. जीबीकेएस प्रसाद, डाॅ. आरके खटीक और आयुष विभाग के नोडल जिलाधिकारी डाॅ. पीके मेवाफरोश मौजूद रहे।
ये हुए निर्णय
- रूपसिंह हाॅस्टल में खाली खाली पड़े वार्डन हाउस को कोरोना आइसोलेटेड वार्ड में बदला जाए। इसके लिए स्वास्थ्य केंद्र द्वारा प्रो. जीबीकेएस प्रसाद का सहयोग लिया जाएगा। इस वार्ड का संचालन आयुष विभाग के नोडल जिलाधिकारी डाॅ. पीके मेवाफरोश की देखरेख में होगा।
- विवि की एंबुलेंस पर कोरोना टास्क फोर्स लिखकर उसे विवि परिसर में चलाया जाएगा, ताकि कोरोना के संक्रमित व्यक्ति को तुरंत उपचार के लिए भेजा जा सके।
- वार्ड को बनाने के लिए पलंग, गद्दे जैसी सामग्री की व्यवस्था विवि के संबंधित विभागों से की जाए।










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